दिल्ली चुनाव में BJP की ‘आंधी’ में उड़े दूसरी पार्टी के उम्मीदवार, लगभग 80 फीसदी कैंडिडेट्स की जब्त हुई जमानत
February 9, 2025 | by Deshvidesh News

दिल्ली विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने ऐतिहासिक जीत हासिल की है. बीजेपी ने दिल्ली में 70 में से कुल 48 सीटें जीती हैं. वहीं दूसरे नंबर पर आम आदमी पार्टी रही जिसे इस चुनाव में 22 सीटें मिलीं. जबकि कांग्रेस अपना खाता भी नहीं खोल पाई. इस चुनाव परिणाम की चर्चा कई कारणों से होती रहेगी. लेकिन चर्चा में रहने की एक सबसे बड़ी वजह है ऐसे उम्मीदवारों की संख्या जिनकी जमानत जब्त हो गई. इस चुनाव में कुल 699 उम्मीदवार मैदान में थे. जिनमें से 555 उम्मीदवार अपनी जमानत तक नहीं बचा पाए. यानी अगर कुल उम्मीदवार और जमानत जब्त हुए उम्मीदवारों का पर्सेंटेज निकाला जाए तो ये लगभग 80 फीसदी के करीब है.

इस चुनाव में केजरीवाल, सिसोदिया और सौरभ भारद्वाज जैसे दिग्गजों की भी हुई हार
दिल्ली विधानसभा चुनाव के परिणाम ने ये साबित कर दिया है कि इस बार जनता ने बदलाव के लिए मतदान किया है. यही वजह थी कि इस चुनाीव में आम आदमी पार्टी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल भी अपनी नई दिल्ली सीट तक नहीं बचा पाए. यही हाल सोमनाथ भारती, सौरभ भारद्वाज और मनीष सिसोदिया जैसे नेताओं का भी हुआ है.
बीजेपी की जीत के पांच कारण
- पीएम मोदी का चला जादू
- 8वां वेतन आयोग और आयकर में बंपर छूट
- AAP सरकार के भ्रष्टाचार की पोल खोली
- महिलाओं का भरोसा जीतने में हुए सफल
- पुरानी योजनाओं को जारी रखने का वादा
केजरीवाल की इमेज पर लगा दाग
मामला यहीं तक रहता तो भी केजरीवाल सरकार शायद नहीं जाती. केजरीवाल अपने वादों पर भी नहीं टिके. 2015 चुनाव में किए वादों को लगभग केजरीवाल ने पूरा किया था. 2020 तक जमीन पर काम दिखने लगा था. चाहे वो स्कूलों को बेहतर करना हो या बिजली सप्लाई. हालांकि, ये सब काम कांग्रेस के संदीप दीक्षित दावा करते रहे हैं कि शीला दीक्षित सरकार ही 2012-13 में ही कर गई थी, लेकिन जमीन पर असर दिखने में एक-दो साल लगे. मगर, जनता तो ये देखती है कि किसके कार्यकाल में व्यवस्था ठीक हुई और इसी का केजरीवाल को फायदा मिला.
AAP की हार के पांच बड़ा कारण
- 10 साल की सरकार की एंटी इनकम्बेंसी
- शराब घोटाले और भ्रष्टाचार के दाग
- दो चुनावों के कई वादे अधूरे
- कई अहम सीटों पर कांग्रेस ने काटे वोट
- आंतरिक कलह और नेताओं के इस्तीफे
जानकार मानते हैं कि मगर 2020 की जीत ने केजरीवाल को आराम के मूड में ला दिया. यमुना की सफाई का वादा, वायु प्रदूषण को हटाने का वादा, कच्ची नौकरियों को पक्की करने का वादा, दिल्ली की सड़कों को विदेशों की तर्ज पर बनाने का वादा सब 2025 आते-आते भी वादे ही बनकर रह गए. पानी को लेकर दिल्ली में इस गर्मी कोहराम मचा. पानी जहां आ भी रहा था, वहां भी गंदा पानी पहुंचने की शिकायतें आम थीं. दिल्ली की जनता को लगने लगा कि केजरीवाल वादे पूरे नहीं कर रहे. रही-सही कसर केजरीवाल की इमेज पर लगे दागों ने पूरी कर दी. केजरीवाल की चमक फीकी पड़ने लगी थी.

बड़े चेहरे स्टार प्रचारक की भूमिका में मैदान में उतरे
दिल्ली चुनाव के प्रचार को देखें तो बीजेपी के बड़े चेहरे स्टार प्रचारक की भूमिका में मैदान में उतरे और पार्टी के लिए जोरदार प्रचार किया. बीजेपी के लिए पीएम नरेंद्र मोदी सबसे बड़े स्टार प्रचारक रहे, जिनकी बदौलत पार्टी लगातार हर चुनाव में शानदार प्रदर्शन करती आ रही है.वहीं, बीजेपी ने संगठन स्तर पर भी जनता से संवाद का कोई मौका हाथ से जाने नहीं दिया.
Hot Categories
Recent News
Daily Newsletter
Get all the top stories from Blogs to keep track.
RELATED POSTS
View all
आठवें वेतन आयोग की मंजूरी के बाद गठन की कवायद तेज, सरकारी और प्राइवेट सेक्टर में खुशी; जानें कब से मिलेंगे बढ़े वेतन
January 18, 2025 | by Deshvidesh News
IT डिपार्टमेंट का Tax Calculator बताएगा कितना बचेगा टैक्स, आपका काम करेगा आसान, जानें कैसे
February 21, 2025 | by Deshvidesh News
Chhaava Box Office Collection Day 10: दूसरे वीकेंड भी बॉक्स ऑफिस पर छावा का राज, दहाड़ के साथ 10 दिनों में वसूली ये रकम
February 24, 2025 | by Deshvidesh News